इरेक्टाइल डिसफंक्शन (Erectile Dysfunction) पुरुषों की एक यौन समस्या है। बड़ी संख्या में भारतीय पुरुष इस यौन स्वास्थ्य संबंधी समस्या से पीड़ित हैं। इरेक्टाइल डिसफंक्शन के कई कारण हो सकते हैं।
जिसमें मुख्य कारण गलत खान-पान और गलत जीवनशैली है। इरेक्टाइल डिसफंक्शन ((Erectile Dysfunction) के कारण लोगों की सेक्स लाइफ पर बुरा असर पड़ता है जिससे उनका शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य भी खराब हो जाता है।
वहीं, पार्टनर के साथ झगड़े और मानसिक दबाव जैसी स्थितियां भी ऐसी यौन स्वास्थ्य समस्याओं के साथ सामने आती हैं। ऐसी यौन स्वास्थ्य समस्याओं से राहत पाने के लिए आप स्वस्थ खाद्य पदार्थों और आयुर्वेदिक दवाओं का सेवन कर सकते हैं। जिससे आपकी परेशानी कम हो सकती है.
आयुर्वेदिक चिकित्सकों का मानना है कि स्तंभन दोष अक्सर शरीर के दोषों, विशेषकर वात दोष में असंतुलन का परिणाम होता है। इस स्थिति का इलाज करने के लिए, आयुर्वेद आहार परिवर्तन, हर्बल उपचार, जीवनशैली समायोजन और उपचारों के संयोजन पर जोर देता है।
आहार परिवर्तन:
संतुलित आहार खाना जिसमें ताजे फल, सब्जियाँ, साबुत अनाज और दुबला प्रोटीन शामिल हो, आवश्यक है।
कद्दू के बीज और पालक जैसे जिंक युक्त खाद्य पदार्थों की सिफारिश की जाती है क्योंकि ये यौन स्वास्थ्य में मदद करते हैं।
“शराब और कैफीन के अत्यधिक सेवन से बचें”
इरेक्टाइल डिस्फंक्शन को दूर करेंगी ये आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियां – Ayurvedic Herbs For Erectile Dsyfunction In Hindi
हर्बल उपचार:
अश्वगंधा, शिलाजीत, सफ़ेद मूसली और गोक्षुरा जैसी आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियों का उपयोग अक्सर यौन क्रिया को बेहतर बनाने के लिए किया जाता है।
अश्वगंधा (Ashwagandha) – यह तंत्रिका तंत्र, श्वसन प्रणाली और प्रजनन अंगों पर काम करता है। यह शक्तिदायक, कामोत्तेजक और वीर्यवर्धक औषधि है जो स्तंभन दोष में लाभकारी सिद्ध होती है।
शिलाजीत (Shilajit ) – यह भी एक सशक्त कामोत्तेजक औषधि है जो पुरुषों में स्तंभन दोष को दूर करने में फायदेमंद साबित होती है। इसका प्रयोग शिलाजीत के साथ भी किया जाता है।
सफेद मूसली (Musli) – सफेद मूसली का उपयोग आयुर्वेद में औषधि के रूप में किया जाता है। इसके सेवन से पुरुषों में टेस्टोस्टेरोन हार्मोन का स्तर बढ़ जाता है। यह सेक्स पावर बढ़ाने और इरेक्टाइल डिसफंक्शन से छुटकारा पाने के लिए एक बेहतरीन जड़ी-बूटी है। इसका उपयोग सेक्स टाइम बढ़ाने के लिए भी किया जाता है।
गोक्षुरा (Bindii) – यह प्रजनन और तंत्रिका तंत्र पर काम करता है। यह कामोत्तेजक और वीर्यवर्धक औषधि है। यह शरीर में जमा विषैले पदार्थों को मूत्र मार्ग से बाहर निकालकर शरीर को ताकत प्रदान करता है, जो इरेक्टाइल डिसफंक्शन को ठीक करने में फायदेमंद साबित होता है।
माना जाता है कि ये जड़ी-बूटियाँ कामेच्छा बढ़ाने, रक्त परिसंचरण को बढ़ाने और समग्र यौन प्रदर्शन में सुधार करने में मदद करती हैं।
जीवनशैली समायोजन:
- तनाव और चिंता स्तंभन दोष में योगदान देने वाले महत्वपूर्ण कारक हो सकते हैं।
- आयुर्वेद योग और ध्यान जैसी तनाव कम करने की तकनीकों का सुझाव देता है।
- पर्याप्त नींद लेना यौन स्वास्थ्य सहित समग्र स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है।
इलाज:
पंचकर्म जैसी आयुर्वेदिक चिकित्सा, जिसमें अभ्यंग (मालिश) और स्वेदन (भाप चिकित्सा) जैसे उपचार शामिल हैं, शरीर को विषहरण करने और परिसंचरण में सुधार करने में मदद कर सकते हैं।
यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि आयुर्वेदिक उपचार समग्र और व्यक्तिगत हैं। इसलिए, आपकी विशिष्ट आवश्यकताओं के लिए सबसे उपयुक्त उपचार योजना निर्धारित करने के लिए किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक से परामर्श करना आवश्यक है।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
प्रश्न: क्या स्तंभन दोष (Erectile Dysfunction) सामान्य है?
उ०: ईडी (Erectile Dysfunction) का निदान इन संकेतों से किया जा सकता है: इरेक्शन प्राप्त करने में असमर्थता, इरेक्शन बनाए रखने में असमर्थता, यौन गतिविधि की इच्छा में कमी।
प्रश्न: स्तंभन दोष (Erectile Dysfunction) का क्या कारण है?
उ०: इरेक्टाइल डिसफंक्शन (Erectile Dysfunction) के अलग-अलग कारण हो सकते हैं जैसे उम्र, मोटापा, दवाएं या अन्य चिकित्सीय स्थितियां।
प्रश्न: क्या स्तंभन दोष (Erectile Dysfunction) बांझपन का कारण बन सकता है?
उ०: पुरुष बांझपन कम शुक्राणु उत्पादन, शुक्राणु असामान्यताएं या शुक्राणु वितरण प्रणाली में रुकावट के कारण होता है। ईडी बांझपन का सीधा कारण नहीं है।